पाकिस्तान में अल्पसंख्यक हिन्दू समुदाय के धर्मांतरण का क्रम जारी है. ताजा घटनाक्रम में सिंध सूबे के मीरपुर खास में रहने वाले 10 परिवारों के कम से कम 50 हिन्दुओं का इस्लाम में धर्म परिवर्तन करवाया गया है. रिपोर्ट्स का दावा है कि इसके लिए गरीब हिन्दू परिवारों को पैसों सहित अन्य दूसरी सुविधाओं का लालच दिया गया. इतना ही नहीं, इस मौके पर पाकिस्तान सरकार के एक बड़े मंत्री का बेटा भी उपस्थित था.
पाकिस्तान का सिंध सूबा पहले से ही बलात् धर्म परिवर्तन की घटनाओं को लेकर बदनाम है. इसके बावजूद पाकिस्तान सरकार अवैध धर्म परिवर्तन रोकने और अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा के लिए कुछ नहीं करती है. यही कारण है कि आजादी के बाद से पाकिस्तान में धार्मिक अल्पसंख्यकों की संख्या दिन-प्रतिदिन कम होती गई है.
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मीरपुरखास डिवीजन के विभिन्न क्षेत्रों में रहने वाले दस परिवारों के 50 सदस्यों ने इस्लाम कबूल किया है. धर्म परिवर्तन को एक स्थानीय मदरसा बैतुल इमान न्यू मुस्लिम कॉलोनी में आयोजित किया था. कहा जा रहा है कि यहां पाकिस्तान के धार्मिक मामलों के मंत्री सीनेटर मुहम्मद तल्हा महमूद का बेटा मोहम्मद शमरोज खान भी उपस्थित था. कार्यक्रम के आयोजक और सिंध में धर्म परिवर्तन का रैकेट चलाने वाले कारी तैमूर राजपूत ने पुष्टि की कि 10 परिवारों ने इस्लाम धर्म अपनाया है.
रिपोर्ट्स के अनुसार, कारी तैमूर राजपूत ने दावा किया कि ये सभी लोग स्वेच्छा से इस्लाम में परिवर्तित हुए हैं. उन्हें किसी ने मजबूर नहीं किया है. 50 लोगों ने धर्म परिवर्तन किया, जिनमें 23 महिलाएं और एक साल की बच्ची शामिल है. हिन्दू से मुसलमान में धर्मांतरित लोग 2018 में धर्मान्तरित नए मुस्लिमों के लिए विशेष रूप से स्थापित एक लोकल कैंप में रहेंगे.
धर्मांतरित लोग खास कैंप में चार महीनों तक रहने के दौरान अपने नए धर्म इस्लाम का अध्ययन करेंगे और धार्मिक नियम कायदों को सीखेंगे. इस दौरान धर्म परिवर्तन कराने वाला संगठन उनकी जरूरतों को पूरा करेगा, जिसमें कपड़े, भोजन और दवाएं शामिल हैं. राजपूत ने दावा किया कि इन लोगों को जो भी आवश्यक्ता होगी, हम हर संभव मदद करेंगे. पिछले पांच साल से सैकड़ों लोग इस्लाम में परिवर्तित हो चुके हैं और ऐसे कैंप में धार्मिक नियमों को सीख चुके हैं.
हिन्दुओं ने जताया विरोध
धर्म परिवर्तन को लेकर हिन्दू कार्यकर्ताओं ने दुख जताया है और गुस्सा व्यक्त किया. कार्यकर्ता, फकीर शिव कुच्ची ने कहा, “ऐसा लगता है कि सरकार खुद इन धर्मांतरणों में शामिल है. स्थानीय समुदाय के सदस्य कई वर्षों से सरकार से इस प्रथा के खिलाफ कानून बनाने की मांग कर रहे हैं. सिंध में धर्मांतरण एक गंभीर मुद्दा है और इसे रोकने के लिए उपाय करने के बजाय, संघीय मंत्री का बेटा धर्मांतरण का हिस्सा है.
कुच्ची ने कहा कि यह हम सभी हिन्दुओं के लिए बहुत चिंता का विषय है. हम अब असहाय महसूस करते हैं. हिन्दू से मुसलमान बनने वाले अधिकांश लोग गरीबी रेखा के नीचे अपना जीवन गुजर बसर करते हैं. पाकिस्तान के धार्मिक नेताओं और इस्लाम में धर्म परिवर्तन कराने वाले इसी का लाभ उठाते हैं. वे उन्हें पैसों और दूसरी सुविधाओं का लालच देते हैं और आसानी से उनका धर्म परिवर्तन कर देते हैं.
पाकिस्तान – मीरपुरखास में दस हिन्दू परिवारों के 50 सदस्यों का धर्म परिवर्तन
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